तीर्थराज पुष्कर में खूब बिखरी उत्तराखंड की सांस्कृतिक और आध्यात्मिक महक




Listen to this article
  • मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने अखिल भारतीय उत्तराखंड धर्मशाला – तीर्थराज पुष्कर के द्वितीय तल का लोकार्पण किया

न्यूज 127.
उत्तराखंड की सांस्कृतिक और आध्यात्मिक महक रविवार को राजस्थान के तीर्थराज पुष्कर में खूब बिखरी, जब मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अखिल भारतीय उत्तराखंड धर्मशाला आश्रम के द्वितीय तल का लोकार्पण किया। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में प्रवासी उत्तराखंडियों, स्थानीय नागरिकों व सामाजिक संगठनों ने हिस्सा लिया, जिससे पूरा परिसर उत्तराखंडी संस्कृति और लोकभावनाओं से सराबोर दिखाई दिया।

मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने आश्रम के लिए 50 लाख रुपये की अतिरिक्त सहयोग राशि की घोषणा करते हुए कहा कि यह धर्मशाला प्रवासी उत्तराखंडियों के लिए मजबूत सांस्कृतिक केन्द्र के रूप में उभरेगी। इससे पहले राज्य सरकार आश्रम निर्माण के लिए एक करोड़ रुपये प्रदान कर चुकी है।

पुष्कर की तपोभूमि को नमन, भावुक हुए मुख्यमंत्री
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सीएम पुष्कर धामी ने कहा कि पुष्कर भूमि केवल तीर्थ नहीं, बल्कि सनातन संस्कृति का अनश्वर दीप है। उन्होंने कहा कि चारधाम यात्रा का पुण्य तभी पूर्ण माना जाता है, जब तीर्थराज पुष्कर के पावन सरोवर में स्नान किया जाए। अपनी प्रेरणा बताते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने भावुक होकर कहा कि संभवतः इसी आध्यात्मिक महिमा से प्रेरित होकर मेरे माता–पिता ने मेरा नाम ‘पुष्कर’ रखा।

सांस्कृतिक पुनर्जागरण का दौर—भारत की पहचान विश्व पटल पर
मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारतीय संस्कृति का वैश्विक गर्व पुनः स्थापित हुआ है। अयोध्या में राम मंदिर, काशी विश्वनाथ कॉरिडोर, महाकाल लोक तथा केदारनाथ-बद्रीनाथ पुनर्निर्माण जैसे कार्य भारत की आध्यात्मिक धरोहर को नई ऊंचाई पर ले जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में भी केदारखंड-मानसखंड मंदिर क्षेत्र, कृष्ण–यमुना तीर्थ सर्किट, हरिद्वार–ऋषिकेश कॉरिडोर और शारदा कॉरिडोर जैसी परियोजनाएँ तेजी से आगे बढ़ रही हैं।

देवभूमि के स्वरूप की रक्षा—कड़े कदम जारी
सीएम पुष्कर धामी ने कहा कि उत्तराखंड की मूल सांस्कृतिक पहचान के संरक्षण के लिए सरकार ने कई ऐतिहासिक फैसले लिए हैं। जबरन धर्मांतरण के खिलाफ कड़ा कानून, लैंड जिहाद, लव जिहाद जैसे मामलों पर सख्त कार्रवाई, दंगारोधी कानून लागू, अवैध कब्जों से 10 हजार एकड़ से अधिक भूमि मुक्त, देश में पहली बार समान नागरिक संहिता लागू, अवैध मदरसों पर कार्रवाई और मदरसा बोर्ड समाप्त, “ऑपरेशन कालनेमि” के तहत धार्मिक स्थलों पर पाखंड फैलाने वाले तत्वों पर शिकंजा कसा जा रहा है।

मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने कहा कि राज्य सरकार का संकल्प देवभूमि को ज्ञान, संस्कार और धार्मिक सम्पन्नता का वैश्विक केन्द्र बनाना है। उन्होंने प्रवासी उत्तराखंडियों से आग्रह किया कि वे अपनी सांस्कृतिक पहचान, बोली, परंपरा और विरासत को गर्व के साथ आगे बढ़ाएं। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड को देश की आध्यात्मिक राजधानी बनाने का लक्ष्य जनभागीदारी से ही संभव है।
समारोह में उत्तराखंड सरकार द्वारा पूर्व में प्रदान की गई एक करोड़ रुपये की सहयोग राशि के लिए मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त किया गया। कार्यक्रम में राजस्थान धरोहर संरक्षण प्राधिकरण के अध्यक्ष ओंकार सिंह लखावत, मंत्री सुरेश सिंह रावत, जिलाधिकारी लोकबंधु, आश्रम अध्यक्ष एस.एस. तड़ागी सहित बड़ी संख्या में प्रवासी उत्तराखंडी एवं स्थानीय प्रशासनिक अधिकारी मौजूद रहे।