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डीएवी विद्यालय में शुक्रवार को कारगिल विजय दिवस की 26वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में विविध कार्यक्रमों का आयोजन कर वीर शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इस अवसर पर विद्यार्थियों ने अपने देशप्रेम, सृजनात्मकता और समझदारी से सभी को भाव-विभोर कर दिया।

कार्यक्रम की शुरुआत 9वीं और 10वीं कक्षा के विद्यार्थियों द्वारा रक्षा प्रौद्योगिकी में भारत की आत्मनिर्भरता को दर्शाते हुए युद्ध क्षेत्र के मॉडल्स, आधुनिक हथियारों और सैन्य उपकरणों की प्रदर्शनी से हुई। इसका उद्देश्य न केवल वीर शहीदों को सम्मान देना था, बल्कि भावी पीढ़ियों को देश की सैन्य क्षमताओं से भी परिचित कराना रहा।

12वीं कक्षा के कॉमर्स विद्यार्थियों ने भारत के 2025 के रक्षा बजट पर गहन चर्चा प्रस्तुत की। उन्होंने बजट के विभिन्न पक्षों पर विचार रखते हुए सुझाव भी दिए, जिससे स्पष्ट हुआ कि राष्ट्र का भविष्य विवेकशील और जागरूक हाथों में है।

वहीं, 6वीं और 7वीं कक्षा के छात्रों ने देशभक्ति गीत ‘ताकत वतन की हमसे है’ की सामूहिक प्रस्तुति देकर पूरे वातावरण को जोश और गर्व से भर दिया। भारत माता की जय के गगनभेदी नारों से विद्यालय परिसर गूंज उठा।

कार्यक्रम का सबसे मार्मिक क्षण तब आया जब बच्चों ने सैनिकों की वेशभूषा में वीर शहीदों की शौर्यगाथा को नृत्य नाटिका के माध्यम से जीवंत किया। प्रस्तुति इतनी सशक्त और प्रभावी थी कि दर्शकों की आंखें नम हो गईं।
विद्यालय की प्रधानाचार्या श्रीमती शालिनी समाधिया ने शहीदों को नमन करते हुए कहा, “जिस प्रकार हमारे सैनिकों ने अपने प्राणों की आहुति देकर देश की आन-बान-शान को अक्षुण्ण रखा, उसी तरह हमें भी संकल्प लेना चाहिए कि हम अपने कर्मों से भारत का नाम विश्व पटल पर गौरवपूर्ण स्थान दिलाएंगे।”
कार्यक्रम ने विद्यार्थियों में राष्ट्रभक्ति, कर्तव्यनिष्ठा और साहस का नया संचार किया। विद्यालय परिवार ने इस अवसर को प्रेरणास्रोत के रूप में मनाते हुए शहीदों के बलिदान को सच्ची श्रद्धांजलि अर्पित की।