नई दिल्ली/न्यूज 127.
हरिद्वार के सांसद एवं उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत लोकसभा में सत्र के दौरान जनहित के मुद्दों को लगातार उठा रहे हैं। वह चाहे नदियों के संरक्षण का मामला हो या फिर पर्यावरण का। सांसद त्रिवेंद्र सिंह रावत अपनी बात सदन के पटल पर रख रहे हैं।
इसी क्रम में उन्होंने लोकसभा में राष्ट्रीय स्वच्छ वायु कार्यक्रम (NCAP) से जुड़ा एक महत्वपूर्ण प्रश्न उठाया। इस पर जवाब देते हुए पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन राज्य मंत्री कीर्तिवर्धन सिंह ने कार्यक्रम की प्रगति और विस्तार की विस्तृत जानकारी साझा की। उनके सवाल का केंद्रीय राज्य मंत्री ने जवाब दिया।
103 शहरों में हुआ वायु गुणवत्ता में सुधार
पर्यावरण मंत्री ने बताया कि जनवरी 2019 में शुरू किए गए राष्ट्रीय स्वच्छ वायु कार्यक्रम (NCAP) का उद्देश्य 24 राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों के 130 ऐसे शहरों में, जहां वायु गुणवत्ता मानकों का उल्लंघन हो रहा है, पीएम 10 के स्तर में कमी लाना है। इन शहरों में जनसंख्या 10 लाख से अधिक है। उन्होंने बताया कि 103 शहरों में PM10 के स्तर में उल्लेखनीय सुधार हुआ है। 22 शहरों ने राष्ट्रीय परिवेशी वायु गुणवत्ता मानकों (NAAQS) को प्राप्त कर लिया है। एनसीआर के 6 प्रमुख शहरों — दिल्ली, अलवर, फरीदाबाद, नोएडा, गाजियाबाद और मेरठ में 2017-18 की तुलना में 2024-25 तक वायु गुणवत्ता में उल्लेखनीय सुधार दर्ज किया गया है। महाराष्ट्र के 19 शहरों को कार्यक्रम में शामिल किया गया, जिनमें से 15 शहरों में सुधार देखा गया है।
सुधार के पीछे ये रही बड़ी वजह
उन्होंने बताया कि इस सुधार के पीछे सड़क निर्माण, ईवी बसों का संचालन, हरित गलियारे, स्वच्छ ईंधन का प्रयोग, यांत्रिक सफाई और जन-जागरूकता अभियानों की महत्त्वपूर्ण भूमिका रही है। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए सांसद त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि, “स्वच्छ वायु का अधिकार प्रत्येक नागरिक का मौलिक अधिकार है।
हरिद्वार में भी दिखेगा ठोस प्रभाव
सांसद त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि वायु गुणवत्ता सुधार के लिए केंद्र सरकार के योजनाबद्ध प्रयासों के सकारात्मक परिणाम अब देश के कई प्रमुख महानगरों में दिखाई दे रहे हैं। हमें विश्वास है कि उत्तराखंड के बड़े शहरों जैसे हरिद्वार, देहरादून, ऋषिकेश आदि में भी आने वाले समय में इसका ठोस प्रभाव देखने को मिलेगा।