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सरदार वल्लभभाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, मेरठ के प्रशिक्षण एवं सेवायोजन निदेशालय द्वारा कुलपति डॉ. केके सिंह कुशल निर्देशन में एक दिवसीय कार्यशाला आयोजित की गई। कार्यशाला का विषय “छात्रों के व्यक्तित्व विकास एवं तनाव से मुक्ति” था। कार्यशाला में मुख्य अतिथि विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ रामजी सिंह द्वारा अनुशासित तरीक़े से सेल्फ़ कॉन्फिडेंस बढ़ाने हेतु छात्रों को प्रेरित किया। यह भी बताया कि समाज में बच्चों के विकास में प्रथम भूमिका माँ की होती है। छात्रों को भविष्य निर्माण हेतु सजग होकर प्रयत्न करने पर बल दिया गया।

कार्यशाला में डॉ. आर एस सेंगर, निदेशक प्रशिक्षण एवं सेवायोजन द्वारा छात्रों को भविष्य निर्माण हेतु प्रेरित किया गया। इस कार्यशाला में पुनीत गर्ग, ट्रेनिंग ऐंड प्लेसमेंट अधिकारी, आई आई टी जोधपुर द्वारा छात्रों को बायोडेटा बनाने, छात्रों से कंपनी क्या चाहती है, साक्षात्कार के समय बायोडेटा को कैसे तैयार करें, कंपनी साक्षात्कार के समय छात्रों से क्या उम्मीद रखती है, इन विषयों के बारे में महत्वपूर्ण बातें बताई गई।

लोकमान सिंह, कॉर्पोरेट ट्रेनर एवं करियर काउंसलर के विशेषज्ञ जो पानीपत से आए थे,उनके द्वारा छात्रों को पर्सनैलिटी डेवलपमेंट, इंटरव्यू स्किल, स्ट्रेस कंट्रोल, आत्मविश्वास बढ़ाने तथा रोज़गार के अनुकूल व्यवसाय और भविष्य के लिए सक्षम बनने हेतु मार्गदर्शन दिया गया। लोकमान सिंह द्वारा देशभर में अभी तक लगभग 10 लाख शिक्षार्थियों को मार्ग दर्शन और प्रशिक्षण देने का अनुभव है। करियर कोच एवं काउंसलर लोकमान सिंह द्वारा छात्रों को व्यक्तित्व विकास एवं जीवन में उत्कृष्ट प्रदर्शन हेतु प्रेरित किया गया। तथा छात्रों को सफल होने हेतु आत्मविश्वास के विकास पर बल दिया गया और छात्रों से अनुरोध किया गया कि वे आत्मविश्वास के साथ बढ़ें तथा समय प्रबंधन पर ज़ोर दें।

डॉ सत्य प्रकाश, संयुक्त निदेशक द्वारा कहा गया कि प्राप्त अनुभवों को अपने जीवन में उतारें और इस तरह के कार्यक्रम भविष्य के दरवाज़े खुलते हैं। डॉ डी वी सिंह, संयुक्त निदेशक द्वारा स्व क्षमता विकास करने पर बल दिया गया एवं भविष्य निर्माण मे अनुशासन अनुशासन और आत्मविश्वास की महत्वता पर ज़ोर दिया गया।
कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के लगभग 230 छात्र छात्राओं द्वारा भाग लिया गया। कार्यक्रम का संचालन डॉ प्रेरणा सिकरवार, सहायक प्राध्यापक द्वारा किया गया। कार्यक्रम कार्यक्रम के सफल आयोजन में डॉ अखिलेश पांडे, डॉ संदीप, डॉ निमिषा तेहरी, डॉ पीयूष तोमर एवं डॉ सावन रावत का अहम योगदान रहा।