पुलिस का हुआ ये हाल, वर्दी वालों को लिफ्ट देने को नही कोई तैयार




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पुलिस का हुआ ये हाल, वर्दी वालों को लिफ्ट देने को नही कोई तैयार
नवीन चौहान
हरिद्वार। उत्तराखंड की मित्र पुलिस को वर्दी में देखकर कोई लिफ्ट देने को तैयार नहीं है। पुलिस की ये छवि लगातार चालान काटने के कारण हो गई है। पुलिसकर्मी लिफ्ट लेने के लिए सड़क किनारे वाहन रोकने के लिए हाथ देते है। लेकिन कोई भी उनको बैठाने के लिए अपने वाहन के ब्रेक नहीं लगाता है। रानीपुर भेल मार्ग पर एक वाहन के इंतजार में वर्दी पहने खड़ी महिला पुलिसकर्मी ने अपना दर्द बताया।
कोरोना संक्रमण काल में मित्र पुलिस से सबसे बेहतर कार्य किया। पुलिसकर्मियों ने जान जोखिम में डालकर जनता की सेवा की। मित्रता, सेवा और सुरक्षा के स्लोगन को चरितार्थ कर दिया। जनता के दिलों में पुलिस की दयालु प्रवत्ति की छवि बन गई। जनता को भी लगने लगा कि मित्र पुलिस बहुत अच्छी है। लेकिन लॉकडाउन के हटने के बाद से मित्र पुलिस ने जनता के वाहनों के ताबड़तोड़ चालान किए। जनता पुलिस से परेशान नजर आने लगी। जनता की मजबूरी का पुलिस पर कोई असर नहीं हुआ। कभी हेलमेट तो कभी मास्क का चालान करने को लेकर पुलिस ने सड़कों पर डेरा डाल दिया। पुलिस अधिकारियों के आदेश को पूरा करने के लिए पुलिसकर्मियों ने भी खूब चालान बुक भरी। लेकिन जनता के दिलों से पुलिस की दूरी भी उतनी ही बढ़ गई। जिसका नतीजा ये देखने को मिला कि पुलिसकर्मियों को अब कोई लिफ्ट देने को तैयार नहीं है। हालांकि ये जनता की गलत सोच है। पुलिसकर्मी सिर्फ कानून का अनुपालन करा रहे है। चालान काटना उनकी मजबूरी भी और जरूरी भी। मजबूरी इसलिए कि अधिकारियों का आदेश है। और जरूरी इसलिए कि यातायात कानून का पालन कराना पुलिस की सबसे महत्वपूर्ण जिम्मेदारी है। सड़क दुर्घटनाओं में कमी आती है। इसीलिए हम पुलिसकर्मियों के सम्मान की अपेक्षा सभी से करते है।