आप के प्रदेश अध्यक्ष को नोटिस भेजने पर भड़के पदाधिकारी




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नवीन चौहान
हरिद्वार। आम आदमी पार्टी की प्रवक्ता हेमा भंडारी ने कहा कि गंगा को स्केप चैनल बताने वाले अध्यादेश का विरोध कर रहे तीर्थ पुरोहितों के आंदोलन को समर्थन करने पर आप प्रदेश अध्यक्ष को नोटिस जारी कर उत्तराखंड की हिंदूवादी सरकार बेनकाब हो गयी है।
प्रेसवार्ता करते हुए हेमा भंडारी ने कहा कि 2016 में कांग्रेस की हरीश रावत सरकार ने अध्यादेश जारी कर हरकी पैड़ी पर बह रही गंगा जल की धारा को नहर घोषित कर दिया था। उस वक्त विपक्ष में रही भाजपा ने मुद्दा बनाते हुए जमकर राजनीति की थी। विधानसभा चुनावों में प्रचार के दौरान सरकार बनने पर 24 घंटे के भीतर अध्यादेश को रद्द करने का वादा किया था। सत्ता में आने के बाद पिछले साढ़े तीन साल से भाजपा सरकार मुद्दे को लटकाए हुए है। मुख्यमंत्री गंगा के आस्तित्व पर खामोश बैठे हैं। हरिद्वार से विधायक और शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक व सांसद तथा केंद्रीय मंत्री डा. रमेश पोखरियाल निशंक भी गंगा के सम्मान पर मौन साधे हुए हैं। अन्य भाजपा नेता भी केवल अपनी राजनीति चमका रहे है। जबकि गंगा के सम्मान के लिए लड़ रहे तीर्थ पुरोहितों के आंदोलन का समर्थन करने पर आम आदमी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष को सरकार ने नोटिस जारी कर दिया। नोटिस भाजपा की हिंदू विरोधी मानसिकता को दर्शाता है। सरकार कितने भी प्रयास कर ले मां गंगा के सम्मान की रक्षा के लिए आप कार्यकर्ता सड़कों पर उतरने से भी पीछे नहीं हटेंगे। इस मौके पर सेक्टर इंचार्ज नवीन मारिया, पूर्व जिला सचिव अनिल सती, पवन कुमार व संजू नारंग आदि कार्यकर्ता भी मौजूद रहे।