नवीन चौहान
हरिद्वार पहुंचने वाले कांवड़ियों का आंकड़ा तीन करोड़ को पार कर गया है। पुलिस नए कीर्तिमान की ओर बढ़ गई है। पुलिस की सुरक्षा व्यवस्था बेहद चाक चौबंद रही। कांवड़ियों की सुरक्षा के लिए पुलिस प्रशासन की सभी योजना कारगर साबित हुई। एसएसपी जन्मेजय खंडूरी के नेतृत्व में पुलिस प्रशासन ने पूरे धैर्य से कांवड़ियों को उनके गंतव्य की ओर रवाना किया। लेकिन अंतिम दिनों पुलिस को बेहद सतर्क होना होगा। पुलिस को इसी तरह अपने डयूटी पर मुस्तैद रहना होगा। मेले की सबसे बड़ी चुनौती इन दो दिनों पर टिकी है।
17 जुलाई 2019 को शुरू हुआ कांवड़ मेला अपने चरम पर पहुंचने लगा है। दिल्ली, हरियाणा, यूपी और पंजाब से भारी संख्या में डाक कांवड़िये हरिद्वार पहुंच रहे है और पवित्र गंगाजल लेकर अपने गंतव्य की ओर रवाना हो रहे है। कांवड़ियों की धर्मनगरी में उमड़ी भीड़ को देखते हुए पुलिस प्रशासन पूरी तरह से चौकन्ना है। पुलिस प्रशासन का दावा है कि 28 जुलाई की शाम छह बजे तक तीन करोड़ 28 लाख 42 हजार 700 कांवड़िये गंगाजल लेकर अपने गंतव्य की ओर रवाना हो गए है। इस मेले में पुलिस के खोया पाया सेल ने गुमशुदा 114 कांवड़ियों में से 112 को उनके परिजनों से मिलवा दिया है। जबकि दो परिवारों की तलाश की जा रही है। वही करीब दो दर्जन से अधिक लोगों को डूबने से बचाया है। हरिद्वार एसएसपी जन्मेजय खंडूरी खुद पुलिसकर्मियों के बीच खड़े होकर यातायात व्यवस्था को बनाने में जुटे है। पुलिसकर्मियों का मनोबल बढ़ा रहे है और उनको दिशा निर्देश जारी कर रहे है।
कांवड़ियों का आंकड़ा तीन करोड़ के पार, लेकिन चुनौती बरकरार



