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कातिल मां की घिनौनी करतूत की तस्वीरे सामने आई है। दो मासूम नवजात बच्चियों की हत्या के बाद मां रोने बिलखने का नाटक करती रही। बच्चियों को डॉक्टर के पास लेकर गई तो वहां भी नाटक करने का सिलसिला जारी रहा। बच्चियों की रजाई से दबाकर हत्या करने का कोई पछतावा नही था। बच्चियों को लेकर एक के बाद एक तीन अस्पताल लेकर पहुंची।
जी हां ज्वालापुर कोतवाली क्षेत्र के धीरवाली में दो मासूम बच्चियों के कत्ल की दास्तां बहुत दर्दनाक है। जिसने भी इस घटना के बारे में सुना उनका दिल दहल गया। हर कोई बच्चियों को गोद लेने और परवरिश करने की बात करता दिखा।
लेकिन मासूम बच्चियों का कत्ल करने वाली मां की बेरहमी की तस्वीरे आपको दिखा रहे है। मां शिवांगी ने क्रूरता की तमाम हदों को पार कर दिया। बड़ी निर्दयता के साथ बच्चियां का मुंह रजाई से मुंह दबोचा। जब इससे भी इसका दिल नही भरा तो चुन्नी से गला घोंटकर हत्या कर दी। हत्या करने के बाद बच्चियों को गोदी में उठाकर निजी अस्पताल गई। जहां चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया तो दूसरे अस्पताल के बाद तीसरे अस्पताल पहुंची।
दो जुडवां बहनों की कातिल मां शिवांगी ने करीब डेढ़ साल पहले ही महेश सकलानी से प्रेम विवाह किया था। उसका महेश से प्रेम प्रसंग था। जिसके बाद परिजनों की रजामंदी से शादी कर दी गई। दोनों खुशहाल वैवाहिक जीवन व्यतीत कर रहे थे। शिवांगी की आयु करीब 20 साल के बीच है। इसी बीच उसको जुडवां बेटियां हुई। बेटियों का नाम स्नेहा और ईशानी रखा गया। सनातन धर्म में बेटियों को लक्ष्मी का स्वरूप माना जाता है। बेटियों की पूजा की जाती है। ऐसे में पिता महेश सकलानी अपनी जुडवां बेटियों को बहुत प्यार दुलार के साथ परवरिश कर रहे थे। बेटियों की रोने की आवाज से ताकत हासिल करके पिता महेश उनकी जिंदगी के सुनहरे सपने बुन रहे थे।
लेकिन पिता महेश सकलानी को इस बात का बिलकुल भी अंदाजा नही था कि उसका प्यार इतना बेरहम और क्रूर होगा। जो उसकी मुस्कराहट ही छीन लेगा। बेटियों की मौत के बाद महेश पूरी तरह से टूट चुका है। उसकी जिंदगी के सपने चकनाचूर हो गए है। बेटियां मौत के आगोश में सो गई और पत्नी जेल में है।
दूसरा सबसे बड़ा सदमा इस बात का है कि जिस प्रेमिका को दिलों जान से चाहा शादी करके पत्नी बनाया और भविष्य की बुनियाद रखी वो तो बेवफा निकली। महेश सकलानी को अपनी बेटियों को इंसाफ दिलाने की लड़ाई कोर्ट में लड़नी है। आरोपी कोई और नही उसका वह प्यार है, जिसको दिलों जान से चाहा है।
सवाल कई है और जवाब समय के पास है। महेश की जिंदगी के आगे का रास्ता तो समय तय करेगा। लेकिन शिवांगी को क्रूर मां के रूप में कभी माफ नही किया जा सकता है। शिवांगी के द्वारा बच्चियों की हत्या करने की घटना पर खुद महेश को यकीन नही हो पा रहा है। महेश पूरे घटनाक्रम के बाद पूरी तरह से पशोपेश में है।
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ये घटना
6 मार्च 2025 को डिस्ट्रिक कंट्रोल रूम के माध्यम से कोतवाली नगर हरिद्वार से सूचना मेमो प्राप्त हुआ की दो जुड़वा लड़कियां मृत अवस्था में जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
7 मार्च 2025 को महेश सकलानी पुत्र रामदेव सकलानी निवासी ग्राम हवेली थाना चंम्बा टिहरी गढ़वाल हाल निवासी धीरवाली कोतवाली ज्वालापुर जनपद हरिद्वार ने अपनी बच्चियों की हत्या की आशंका जताते हुए कोतवाली ज्वालापुर पर मुकदमा अपराध संख्या 105/2025 धारा 103(1) बीएनएस पंजीकृत किया गया।
एसएसपी प्रमेंद्र डोबाल का एक्शन
एसएसपी प्रमेन्द्र सिंह डोबाल ने प्रकरण में एसपी सिटी से वार्ता की गई और सीओ ज्वालापुर को हर पहलू पर जाँच करते हुए घटना के सही अनावरण हेतु निर्देशित किया।
सीसीटीवी फुटेज
ज्वालापुर सर्किल पुलिस अधिकारियों ने तत्काल घटनास्थल का बारीकी से निरीक्षण किया, वादी के घर के आसपास/पड़ोसियों/जान पहचान वाले अनेकों व्यक्तियों से गंभीरतापूर्वक पूछताछ की गई। आसपास के कैमरों को चैक किया गया।
घर पर नही आया कोई
इन सबके उपरांत कई महत्वपूर्ण तथ्य पुलिस के संज्ञान में आए जैसे वादी की पत्नी शिवांगी का सुबह के समय दूध लेने जाने और घर वापस आने तक किसी भी व्यक्ति का घर में आना-जाना नहीं पाया गया।
पिता के मुताबिक
महेश सकलानी ने बताया कि 06/03/2025 को सिडकुल में कंपनी में काम करने गया था मेरे पास फोन आया कि मेरी दोनों जुड़वा बच्चियों की तबीयत खराब है। वह आनन फानन में घर पहुंचा इस दौरान मेरी पत्नी दोनों बच्चियों को निजी अस्पताल लेकर गई। जहां डॉक्टरों ने जांच के बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया। मेरी पत्नी ने बताया दिनांक 06/03 2025 को समय 10:30 बजे दोनों बच्चियों को सुलाकर घर का दरवाजा बंद कर दूध देने के लिए गई थी। जब कुछ देर बाद वापस घर लौटी तो दोनों बच्चियां बेहोश मिलीं इसके बाद वह पड़ोसियों के साथ उन्हें अस्पताल ले गई थी।
पुलिस की सख्ती
महिला कांस्टेबल की निगरानी में हरिद्वार पुलिस ने कई घंटों तक गहनता से पूछताछ की गई तो वादी की पत्नी ने बताया कि मेरी दोनों जुड़वां बच्चियां रात-दिन अक्सर रोती रहती थी, अभियुक्ता को जरा सा भी आराम नहीं मिल पाता था, कम उम्र व साथ में कोई परिजन न होने की वजह से चिड़चिड़ापन बढ़ता गया जिससे रात में नींद/आराम पूरा न होने के कारण अभियुक्ता ने गुस्से व झल्लाहट में बार-बार रो रही बच्चियों को पहले रजाई से दबाया लेकिन उनके ज्यादा चिल्लाने पर स्कार्फ/चुन्नी से गला दबाकर बच्चियों की हत्या कर दी और सुबह के समय दूध लेने के लिए और दोनों की भांति घर से गई/आई।