मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत कोरोना को रोकने का कर रहे हरसंभव प्रयास, सराहनीय पहल




Listen to this article

नवीन चौहान
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत कोरोना के संक्रमण से प्रदेशवासियों को बचाने के लिए युद्ध स्तर पर हरसंभव प्रयास कर रहे है। जनमानस को जागरूक करने के साथ चिकित्सा के तमाम संसाधनों को पूरा करने में जुटे है। आपदा की इस घड़ी में प्रशासन, पुलिस और मीडिया उनके सहयोगी बनकर जनता को सुरक्षित बचाने की कवायद कर रहे है। इसी के चलते मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने वीडियो कांफ्रेंसिग के जरिए प्रदेश में कोरोना वायरस की अद्यतन स्थिति और इसके संक्रमण को कम करने के लिए की गई तैयारियों की विस्तृत समीक्षा की।
समीक्षा बैठक के दौरान मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने निर्देश दिये कि गेहूँ की आटा मिलें चलती रहें। पंजीकृत और अन्य श्रमिकों व अन्य ज़रूरतमंदों को तत्काल सहायता उपलब्ध कराई जाए। आवश्यक सावधानियां बरतते हुए फार्मा इंडस्ट्री चलती रहें। जो लोग बाहर से आ रहे हैं, उनको होम क्वारेंटाईन कराया जाए। कोरोना संदिग्ध लोगों जिनकी रिपोर्ट लम्बित है, को सख्ती के साथ घर पर क्वारेंटाईन किया जाए। इस पर लगातार चैकिंग भी की जाए।
जिलाधिकारी इनको क्रास चेक करा लें। जिलों में होम डिलीवरी की व्यवस्था को मजबूत करें। सोशल डिस्टेंसिंग का अनुपालन सुनिश्चित किया जाए। मुख्यमंत्री ने अभी तक की स्थिति पर संतोष व्यक्त करते हुए कहा कि इसी प्रकार आपसी समन्वय से आगे भी काम करना है। कोई  छोटी से छोटी कोताही भी नहीं होनी चाहिए।
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि आवश्यकता होने पर देहरादून व हल्द्वानी में 500 बेड के प्री फैब कोरोना अस्पताल बनाए जा सकते हैं, इसके लिए संबंधित जिलाधिकारी 5 एकङ भूमि चयनित कर लें। जिन भी सीएमओ व अन्य अधिकारियों के नम्बर सार्वजनिक कर रहे हैं उन्हें सहायक भी दे दे। छोटी आटा चक्कियो को चलने दे। थोक सप्लाई को न रोके। दुकानों पर रेट लिस्ट अवश्य लगें। फूड प्रोसेसिंग से संबंधित फेक्ट्री चलती रहें। कल मार्केट आवश्यक वस्तुओं के लिए सुबह 7 से दोपहर 1 बजे तक खुले रहेंगे। फल सब्जी की ठेलिया चल सकती हैं। चार पहिया वाहन पूरी तरह बंद रहेंगे। दोपहिया वाहन सुबह 7 से दोपहर 1 बजे तक चलेंगे परंतु इनपर एक ही व्यक्ति बैठेगा।
बैठक में सचिव नितेश झा ने बताया कि अभी उत्तराखंड में कोरोना के फेज एक में ही है। यहां पाए गए पाजिटिव केस बाहर से आए हुए हैं। स्थानीय संक्रमण नहीं हुआ है। सोशल डिस्टेंसिंग रखने में सफल रहे तो राज्य में कोरोना मामलों को रोकने में अवश्य कामयाब रहेंगे। आयुष चिकित्सकों की सेवाएं भी ली जाएंगी। जिला चिकित्सालयों में कोरोना स्पेसिफिक अस्पताल स्थापित कर रहे हैं। आवश्यक दवाओं और उपकरणों की व्यवस्था की गई है। सचिव सुशील कुमार ने बताया कि खाद्यान्न पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है।
बैठक में मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह, डीजीपी अनिल कुमार रतूङी, सचिव अमित नेगी अन्य शासन के वरिष्ठ अधिकारी, जिलाधिकारी और अन्य अधिकारी उपस्थित थे।