मेरठ। चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय के सूक्ष्म जीव विज्ञान विभाग में चल रही सात दिवसीय कार्यशाला के दूसरे दिन मुख्य अतिथि सरदार वल्लभभाई कृषि विश्वविद्यालय के प्रोफेसर अमित कुमार रहे। प्रोफेसर अमित कुमार ने अपने व्याख्यान में बताया कि आज की दौड़ती भागती जिंदगी में हम छोटी-छोटी बीमारियों जैसे सरदर्द, पेट दर्द बुखार, होने पर बिना डॉक्टर की सलाह लिए एंटीबायोटिक का सेवन करना शुरू कर देते हैं जो कि हमारे स्वास्थ्य के लिए नुकसानदायक साबित होती हैं। हमें एंटीबायोटिक का उपयोग कम से कम एवं बहुत ही सावधानी से करना चाहिए।
प्रोफेसर जितेंद्र सिंह ने कहा कि एंटीबायोटिक का अवशोषण और अनावश्यक इस्तेमाल से बैक्टीरिया प्रतिरोधकता विकसित कर सकते हैं जिससे एंटीबायोटिक के प्रभाव में कमी हो सकती है। डॉ. लक्ष्मण नागर के अनुसार माइक्रोब्स जैसे कि बैक्टीरिया, फंगस ,और वायरस छोटे संरचनात्मक माइक्रोब्स होते हैं जो जीवन के लिए बहुत महत्वपूर्ण होते हैं। इन माइक्रोब्स आइसोलेशन करना और उनका पहचाना वैज्ञानिक अनुसंधान के लिए महत्वपूर्ण है। डॉ अंजलि एवं डॉक्टर दिनेश पवार ने माइक्रोब्स की पहचान करने तकनीकी पर विस्तृत जानकारी साझा की। इस कार्यक्रम में विभाग के शिक्षक डॉ अश्वनी शर्मा,डॉक्टर शशांक राणा, डॉ कपिल स्वामी और अन्य मौजूद रहे।