चमोली जिला जज का निलंबन आदेश और चार्जशीट उत्तराखंड हाईकोर्ट ने की रद्द




नवीन चौहान.
उत्तराखंड हाईकोर्ट ने जिला एवं सत्र न्यायाधीश धनंजय चतुर्वेदी के निलंबन आदेश व चार्जशीट को रद्द कर दिया है। इस मामले की हाईकोर्ट के न्यायाधीश राकेश थपलियाल और न्यायमूर्ति पंकज पुरोहित की खंडपीठ में 29 दिसंबर को सुनवाई के लिए याचिका पेश हुई थी। इस याचिका के तहत जिला जज धनंजय चतुर्वेदी की याचिका में उन्होंने हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार जनरल द्वारा उन्हें 24 जुलाई 2023 को निलंबित करने व 10 अगस्त 2023 को चार्जशीट जारी करने को चुनौती दी थी।

धनंजय चतुर्वेदी पर आरोप था कि उनके चमोली के जिला एवं सत्र न्यायाधीश रहने के दौरान, गवाह के बयानों की रिकॉर्डिंग हुई, जो हाईकोर्ट के नियमों का उल्लंघन है। इसके अलावा उन्होंने चतुर्थ श्रेणी महिला कर्मचारी के फोन की कॉल डिटेल प्राप्त की, जो एक महिला की निजता और व्यक्तिगत अधिकार का उल्लंघन है। यह उत्तराखंड सरकारी सेवा नियमावली के खिलाफ भी है।

इस मामले में हेम वशिष्ट नाम के अधिवक्ता ने उच्च न्यायालय के रजिस्ट्रार विजिलेंस और उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायधीश को शिकायत की थी, जिसमें न्यायालय में हुई रिकॉर्डिंग की पेन ड्राइव भी थी। मामले में याचिकाकर्ता के अधिवक्ता ने न्यायालय को बताया कि जिस अधिवक्ता ने यह शिकायत भेजी है वह जिला बार एसोसिएशन चमोली में पंजीकृत नहीं है। इसके अलावा शिकायत पत्र में न तो दिनांक है और न ही उसमें हस्ताक्षर हैं। इसके अलावा शिकायत पत्र चमोली डाकघर से भेजने के बजाए हल्द्वानी डाकघर से भेजी गई है।

उच्च न्यायालय ने तथ्यों के साथ सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायधीश के 22 दिसम्बर 2014 को जारी सर्कुलर के अनुसार किसी न्यायिक अधिकारी की शिकायत शपथपत्र में देना आवश्यक है, के आधार पर जिला एवं सत्र न्यायाधीश धनन्जय चतुर्वेदी के निलंबन आदेश के साथ उनके खिलाफ की गई चार्ज शीट को रद्द कर दिया।



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