डेल्टा प्लस वैरिएंट बेहद खतरनाक, उत्तराखंड सरकार की चिंता बढ़ी, रोकने की कवायद





नवीन चौहान
कोरोना के डेल्टा प्लस वैरिएंट बेहद ही खतरनाक तरीके से अपने तेवर दिखा रहा है। जिसके चलते उत्तराखंड सरकार की भी चिंता बढ़ गई है। कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए सरकार प्रयत्नशील है। देश के 18 जिलों में डेल्टा प्लस वैरिएंट के 50 मामले सामने आने के बाद जनता को भी घबराहट होने लगी है।
कोरोना के डेल्टा प्लस वैरिएंट के सबसे ज्यादा महाराष्ट्र में मिले हैं। महाराष्ट्र में अब तक 20 मरीज मिल चुके हैं। जबकि मध्य प्रदेश की बात करें तो वहां 7 मरीज सामने आए है। पंजाब और गुजरात में दो—दो मरीज मिले है। केरल में तीन, आंध प्रदेश, ओडिसा, जम्मु और कनार्टक और राजस्थान में एक—एक मरीज मिला है। जबकि तमिलनाडु में 9 मरीजों में डेल्टा वैरिएंट के मरीजों की पुष्टि हो चुकी है।
देश की हालात कोरोना ने खराब कर दी है। देश की अर्थव्यवस्था बुरी तरह प्रभावित है। अगर उत्तराखंड की बात करें तो प्रदेश सरकार कोरोना संक्रमण से जनता को सुरक्षित बचाने के लिए फूंक—फूंककर कदम बढ़ा रही है। एक ओर कारोबारियों की अर्थव्यवस्था को लेकर सरकार चिंतित है। दूसरी ओर जनता के जीवन को सुरक्षित रखने की परेशानी बढ़ी हुई है।
हालांकि कोरोना संक्रमण से सुरक्षित रहने के लिए मास्क, सोशल डिस्टेंसिंग और सेनेटाइजर की सबसे बेहतर विकल्प है। लेकिन वैक्सीनेशन अभियान भी युद्ध स्तर पर चल रहा है। फिलहाल मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने अपनी सभी तैयारियां कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर में जनता को सुरक्षित बचाने में झोंक दी है। सरकार के प्रयास कितने कारगर होंगे, यह तो आने वाला वक्त बतायेगा। फिलहाल हम सभी को सतर्क रहने और सुरक्षित रहने की जरूरत है। जनता का नैतिक दायित्व है कि वह कोरोना संक्रमण को फैलने से रोकने की दिशा में सरकार और जिला प्रशासन का सहयोग करें।



Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *