8 फरवरी से खुल जाएंगे इन कक्षाओं के स्कूल, बच्चों को नहीं कर सकेंगे बाध्य, इन नियमों का करना होगा पालन




जोगेंद्र मावी
उत्तराखंड सरकार ने लाॅकडाउन से बंद पड़े स्कूलों में 6, 7, 8, 9, 11 कक्षाओं में पढ़ाई के लिए अनुमति जारी कर दी है। पढ़ाई 8 फरवरी-2021 से शुरू हो जाएगी। स्कूलों के लिए शासन ने गाइड लाइन जारी कर दी है। सबसे बड़ी बात यदि कोई छात्र या छात्राएं स्कूल नहीं आना चाहता है तो उसे स्कूल प्रबंधन की ओर से बाध्य नहीं किया जाएगा। साथ ही यदि कोई ऑनलाइन पढ़ाई करना चाहता है तो उसे सुविधा स्कूल की ओर से उपलब्ध करानी होगी। मुख्य शिक्षा अधिकारी डाॅ आनंद भारद्वाज ने बताया कि कोविड-19 की गाइड लाइन का पालन कराने के लिए स्कूल प्रबंधन, प्रधानाचार्यों को अवगत करा दिया है। जांच के लिए अधिकारियों की टीम निरीक्षण करेगी।
इन नियमों का करना होगा पालन
स्कूल खोलने से पूर्व पूरी तरह से सैनिटाइज किया जाएगा। यह प्रक्रिया प्रतिदिन प्रत्येक पाली के उपरांत नियमित रूप से भी सुनिश्चित की जाए। विद्यालयों में सैनेटाइजर, हैंडवाश, थर्मल स्क्रनिंग, एवं प्राथमिक उपचार की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। यदि किसी छात्र-छा़त्राएं या शिक्षक या अन्य कार्मिक को खांसी, जुकाम या बुखार के लक्षण हो तो उन्हें प्राथमिक उपचार देते हुए घर वापस भेज दिया जाए।
प्रत्येक विद्यालय में कोविड-19 के संक्रमण के दृष्टिगत संबंधित स्कूल द्वारा एक नोडल अधिकारी नामित किया जाए।
सोशल डिस्टेसिंग का पालन पूरी तरह से लागू किया जाए। इसके लिए कक्षा में छा़त्र-छात्राओं को बैठाने के लिए 6 फीट की दूरी का पालन करना होगा।
छात्र-छात्राओं को मास्क लगे होने, हैंडवाश, हैंड सैनिटाइज, थर्मल स्क्रीनिंग के बाद ही प्रवेश दिया जाए।
प्रवेश और छुट्टी के समय मुख्य द्वार पर सोशल डिस्टेसिंग का अनुपालन कराना होगा।
स्कूल में यदि एक प्रवेश द्वार है तो उनका उपयोग सुनिश्चित किया जाए।
स्कूल में आते समय बस में मास्क, सोशल डिस्टेसिंग का पालन कराया जाए। बस को सैनिटाइज कराता रहना होगा। बस में बैठते समय हैंडवाश कराना जरूरी रहेगा। ऑनलाइन पठन पाठन की व्यवस्था यथावत जारी रखी जाए। जिन छात्र-छात्राओं के पास ऑनलाइन पठन पाठन के लिए व्यवस्था नहीं है, उन्हें प्राथमिकता के आधार पर स्कूल बुलाया जाए।
यदि कोई छात्र-छात्राएं ऑनलाइन पढ़ाई करना चाहता है तो उसके लिए सुवि
धा उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी स्कूल प्रबंधन की होगी।
यदि स्कूल में एक पाली में सोशल डिस्टेसिंग का पालन कराना मुश्किल हो रहा हो तो उसे स्कूल दो पालियों में चलाया जाए।
स्कूल आने पर बच्चों के अभिभावक का सहमति पत्र जरूरी है।
स्कूल प्रबंधन को छात्र-छात्राओं के प्रति लचीला रूख अपनाना होगा, यदि कोई छात्र भौतिक रूप से स्कूल नहीं आता है तो उसे बाध्य नहीं किया जाए।
कोविड-19 के प्रति बचाव और फैलाव होने की जानकारी बच्चों को दें, ताकि वे अपने परिवारजनों को भी जागरूक कर सकें।



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