योगेश शर्मा.
देश-विदेश के 550 से अधिक परीक्षा केंद्रों पर आयोजित हुई देश की सबसे बड़ी प्रवेश परीक्षा विवादों में घिर गई है। इस परीक्षा के दौरान छात्राओं के इनर वियर और ब्रा उतरवाने का मामला सामने आया है।
बताया जा रहा है कि सैकड़ों छात्राओं के अंडर गारमेंटस परीक्षा से पहले उतरवाए गए। इस मामले में शिकायत के आधार पर केस दर्ज कर जांच भी शुरू कर दी गई है।हालांकि केंद्र संचालकों की ओर से इस मामले में कहा गया है कि जांच कार्य एजेंसियों द्वारा किया गया।
बतादें रविवार, 17 जुलाई, 2022 को नीट नीट यूजी की प्रवेश परीक्षा थी। इस दौरान छात्राओं से जबरन इनरवियर और ब्रा उतरवाने का मामला सामने आया है। यह मामला केरल में सामने आया है जबकि कई अन्य राज्यों से भी हिजाब, बुर्का और दुप्पट्टे उतरवाने के भी मामले सामने आए हैं। इसके खिलाफ छात्राओं और उनके परिजनों ने शिकायत दर्ज करवाई है।
वहीं, मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, सफाई देते हुए केरल के कोल्लम में स्थित अयूर चदायमंगलम में मार्थोमा इंस्टीट्यूट ऑफ इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी ने परीक्षा केंद्र संचालकों की ओर से कहा जा रहा है कि बाहरी जांच एजेंसी द्वारा परीक्षा देने पहुंची छात्राओं की ब्रा उतरवाई गई, इसके पीछे का कारण ब्रा के हुक को बताया जा रहा है। ये हुक जो की मेटल के बने होते हैं और मेटल डिटेक्टर के संपर्क में आने पर बीप करने लगते हैं। इसलिए ऐसा किया गया। बाहरी एजेंसियों द्वारा तलाशी और बायोमेट्रिक जांच की गई थी। इसमें कॉलेज प्रबंधन के सदस्य शामिल नहीं थे।
परिजनों ने परीक्षा केंद्र के अधिकारियों की इस हरकत के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है। प्राथमिक जानकारी के अनुसार लगभग 100 लड़कियों को इस स्थिति का सामना करना पड़ा। कोट्टारक्का के पुलिस उपाधीक्षक के कार्यालय में इस संबंध में शिकायत दर्ज कराई गई है। परीक्षार्थियों का ये भी कहना है कि रविवार को परीक्षा के बाद उनके अंडरगारमेंट्स को डिब्बों में भरकर एक साथ फेंक दिया गया था।
वहीं, ड्रेस कोड के अनुसार, छात्रों को परीक्षा हॉल में प्रवेश करते समय मेटल, किसी भी धातु की वस्तु या आभूषण आदि पहनने की अनुमति नहीं है। वहीं, विशेषज्ञों के अनुसार, एनटीए की एडवाइजरी ब्रा और अंडरगारमेंट्स के बारे में बात नहीं करती है। यानी कि जांच का यह तरीका सरासर गलत और नियम विरूद्ध है।