राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के दौरे से उत्तराखंड में मंत्रालय मिलने व बदलने की अटकले हुई तेज




जोगेंद्र मावी
उत्तराखंड में 2017 विधानसभा चुनाव के गठन के होने के बाद से मंत्रालय मिलने के कयास लगाए जाते रहे। उत्तर प्रदेश में कई बार मंत्रालयों में फेरबदल और गठन भी हुआ। अब यूपी में फिर से मंत्रालयों का विस्तार होने की सूचनाएं आ रही हैं, लेकिन उत्तराखंड में पूरे चार सालों में कोई फेरबदल या विस्तार नहीं हुआ। अब भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के उत्तराखंड के दौरे के बाद मंत्रालय में विस्तार की सुगबुगाहट शुरू हो गई है। सूचना तो यहां तक फैलाई जा रही है कि कई मंत्रियों के मंत्रालय बदल सकते हैं।
उत्तराखंड प्रदेश में भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा का चार दिवस का कार्यक्रम सोमवार को समाप्त हो रहा है। वे 4 दिसंबर—2020 को हरिद्वार में आए थे। हरिद्वार में कई सामाजिक संस्थाओं, आश्रमों, मंदिरों में गए। इसके बाद वे 5 दिसंबर को देहरादून पहुंच गए। उन्होंने देहरादून में भाजपा के पदाधिकारियों, मंत्रियों, विधायकों और सक्रिय कार्यकर्ताओं के साथ बैठकें की। उन्होंने भाजपा की रीति नीतियों को समझाया। उनके देहरादून में लगातार कार्यक्रम होते रहे। अब चर्चाए आने लगी ​कि त्रिवेंद्र सरकार में मंत्रियों की संख्या बढ़ सकती है। यहां तक कि कुछ लोग तो यहां तक चर्चा करते हुए मिल रहे हैं कि कुछ मंत्रियों के मंत्रालयों में फेरबदल हो सकता है। तो कई विधायकों को मंत्रालय मिलने की भी उम्मीद है। विधायकों ने इसके लिए खूब फिल्डिंग की है। कुछ भाजपा के वरिष्ठ नेताओं ने भी अपने को उपेक्षित किए जाने जैसी बाते उठाते हुए मंत्रालय या समितियों में एडजस्ट कराने की मांग की है। हालांकि अब सत्ता का एक साल का समय शेष रह गया है, तो इसमें कुछ नेताओं को कैबिनेट दर्जा से नवाजा जा सकता है।
राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने देखा सामंजस्य
उत्तराखंड में आगमन का मुख्य कारण विधानसभा—2022 में वापसी करना है। इसके लिए राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने प्रदेश में सत्ता और पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता का आपसी समन्वय कैसा चल रहा है, इस पर विचार लेने के बाद मंथन किया है। हालांकि कई मंत्री और विधायक प्रदेश नेतृत्व से नाराज चल रहे थे। ​विधायक बिशन सिंह चुफाल के अलावा कई विधायक भी उनसे मुलाकात कर चुके हैं। राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के आगमन से सभी को उम्मीद है कि मंत्रालय में फेरबदल होगा और नए पोर्टफोलियो भी बटेंगे। सूचना तो यहां तक भी एक या दो मंत्री पदस्थ भी किए जा सकते हैं। लेकिन इसके उल्ट कई विधायकों को मंत्री बनने की उम्मीद है।
हरिद्वार से तीन विधायकों को उम्मीद
हरिद्वार से तीन विधायक मंत्री लाइन में हैं, जिनमें विधायक स्वामी यतीश्वरानंद, आदेश चौहान और संजय गुप्ता का नाम है। ये तीनों ही दो—दो बार से विधायक है और तीनों के अपने समीकरण व दावे हैं। पंजाबी समाज से सत्ता में एक भी विधायक नहीं है, तो जातीय समीकरण बैठाने के चलते हुए प्रदीप बत्रा का नाम चर्चाओं में है। इनके अलावा प्रदेश के कई वरिष्ठ विधायक भी मंत्री बनने के लिए लाइन में हैं। अब देखना है कि राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के दौरे से किसकी किस्मत जागेगी।



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