सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि विश्वविद्यालय में छात्राओं को दिये गए करियर विकास के टिप्स




मेरठ। सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय में प्रशिक्षण एवं सेवायोजन निदेशालय द्वारा करियर विकास विषय पर एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया। कार्यशाला की अध्यक्षता लोकमान सिंह प्रतिष्ठित विशेषज्ञ एवं शिक्षक ने करते हुए छात्र छात्राओं को करियर से संबंधित महत्वपूर्ण टिप्स दिये।

अपने संबोधन में लोकमान सिंह ने कहा कि छात्र छात्राएं कैसे अपना इफेक्टिव रिज्यूम तैयार कर सकते हैं तथा साक्षात्कार के लिए किस प्रकार से तैयारी करें ताकि उन्हें इंटरव्यू में सफलता ही मिले। करियर विकास और परामर्श के क्षेत्र में एक निपुण लोकमान सिंह ने अपने अनुभव का खजाना छात्रों के साथ साझा किया। उन्होंने कहा कि आज के अत्यधिक प्रतिस्पर्धा वाले नौकरी क्षेत्र में सफलता प्राप्त करने के लिए व्यावहारिक अंतः दृष्टि रखनी चाहिए। एक साधारण बायोडाटा को आकर्षक बायोडाटा बनाने की कला को उजागर किया जाए जो कौशल और अनुभवों को प्रभावी ढंग से प्रदर्शित कर सके। जिससे संभावित कंपनियों पर स्थाई प्रभाव पड़ सके। उन्होंने आत्मविश्वास के साथ साक्षात्कार में महारथ हासिल करने के टिप्स भी छात्रों को दिए। लोकमान सिंह ने छात्रों के चुनौती पूर्ण सवालों के जवाब दिए और उन्हें आत्मविश्वास को बढ़ाने से संबंधित तकनीकी को भी बताया।

यह कार्यक्रम विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ0 के0के0 सिंह के निर्देशन में आयोजित किया गया। उन्होंने कहा इस प्रकार के कार्यक्रमों से छात्र अपने करियर में उत्कृष्ट प्राप्त कर सकते हैं, जिससे उनमें ज्ञान और आत्मविश्वास पैदा होगा। उन्होंने कहा इस प्रकार के कार्यक्रमों से छात्रों को आगे बढ़ाने में सहायता मिलेगी। निदेशक ट्रेनिंग प्लेसमेंट प्रोफेसर आरएस सेंगर ने अपने संबोधन में कहा कि छात्रों को अपने लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए कठिन परिश्रम करना होगा। साथ ही टाइम मैनेजमेंट पर भी ध्यान देना होगा। यदि छात्र आत्मविश्वास के साथ संवाद अच्छा करेंगे तो उनको आसानी से कंपनियों में नौकरी मिलेगी। साथ ही साथ टाइम मैनेजमेंट करके कठिन परिश्रम यदि वह करते हैं तो उनको सरकारी नौकरी भी आसानी से मिल सकती हैं। उन्होंने छात्रों से कहा कि लक्ष्य निर्धारण स्वयं करें किसी के द्वारा थोपे गए लक्ष्य को ना माने, अपने मन के अनुसार लक्ष्य निर्धारित करके उसका संकल्प लें और आगे बढ़े।

कृषि महाविद्यालय के अधिष्ठाता डॉ0 विवेक धामा ने सभी आगंतुकों एवं छात्र-छात्राओं का स्वागत किया। कार्यक्रम में धन्यवाद प्रस्ताव संयुक्त निदेशक ट्रेंनिंग आफ प्लेसमेंट डॉ0 सत्य प्रकाश ने दिया। एसोसिएट डायरेक्टर ट्रेनिंग प्लेसमेंट डॉ0 डीवी सिंह ने इस प्रकार की कार्यशालाओं की उपयोगिता के बारे में बताया। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि आज की इस भाग दौड़ की जिंदगी में छात्रों को अपने परिश्रम के द्वारा अपने कौशल विकास को बढ़ाना होगा तथा प्रभावी तरीके से प्रस्तुत करने की क्षमता भी विकसित करनी होगी।

कार्यक्रम में एसोसिएट डायरेक्टर डॉ देशदीपक तथा कार्यक्रम का संचालन डॉ. शैलजा काटोच द्वारा किया गया। इस कार्यक्रम में कृषि विश्वविद्यालय के लगभग 310 छात्र-छात्राओं ने भाग लिया। छात्रों द्वारा विश्वविद्यालय में पहली बार किए गए इस तरह के आयोजन की सराहना अधिक की गई। कार्यक्रम को सफल बनाने में इं0 रजनीश सहायक प्राध्यापक कॉलेज आफ टैक्नोलॉजी, मोहित राठौर आदि का विशेष सहयोग रहा।



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