कांग्रेस नेत्री वंदना गुप्ता अंदरूनी गुटबाजी का शिकार, जानिए पूरी खबर




नवीन चौहान, 

हरिद्वार। कांग्रेस की अंद्वरूनी गुटबाजी एक बार फिर खुलकर सामने आ गई है। कांग्रेस पार्टी के नेता खुद ही अपनी ही पार्टी के कार्यकर्ताओं की फजीहत करने में लगे है। ताजा मामला कांग्रेसी नेत्री वंदना गुप्ता के एक नोटिस को लेकर सुर्खियों में आया है। इस नोटिस का प्रचार भाजपा नेता कम और कांग्रेसी ज्यादा कर रहे है। जबकि इस प्रकरण में वंदना गुप्ता पार्टी के पदाधिकारियों को पूर्व में लिखित जबाव दे चुकी है। ऐसे में सवाल उठता है कि कांग्रेस का झंडा बुलंद करने वाली वंदना गुप्ता के बढते कदमों को रोकने के लिये पार्टी के भीतर की कुछ लोग सक्रिय है। जो उनका मनोबल गिराना चाहते है।

हरिद्वार जनपद में कांग्रेस पार्टी की गुटबाजी किसी से छिपी नहीं है। कांग्रेस की गुटबाजी का लाभ भाजपा को मिलता रहा है। हरिद्वार विधानसभा क्षेत्र की बात करें तो करीब दो दशक से कांग्रेस का दमदार नेता उभरकर सामने नहीं आया है। अभी कुछ महीनों से एक कांग्रेस नेत्री वंदना गुप्ता ने पार्टी के झंडे को पुरजोर तरीके से उठाया है। वंदना गुप्ता सोशल मीडिया पर भाजपा के खिलाफ खुलकर बोलती रही है। इसी के चलते कई बार भाजपा नेताओं से उनकी भिडंत हो चुकी है। वंदना की लोकप्रियता में भी लगातार इजाफा हो रहा है। ये बात कुछ कांग्रेसी नेताओं को हजम नहीं हो रही है। कुछ दिनों पूर्व कांग्रेस नेत्री वंदना गुप्ता ने विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद्र अग्रवाल के पुत्र की नौकरी के संबंध में एक पोस्ट फेसबुक पर पोस्ट की थी। इस पोस्ट में वंदना गुप्ता ने कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह के बयान पर सवाल उठाया था। इस पोस्ट के बाद वंदना गुप्ता को पार्टी की ओर से नोटिस दिया गया था। जिसका जबाव भी वंदना गुप्ता ने दे दिया था। पूरा मामला ठंडे बस्ते में चला गया था। लेकिन इस मामले को एक बार फिर कांग्रेसियों ने ही हवा दी है। इस बार प्रदेश कांग्रेस अनुशासन समिति के अध्यक्ष डाॅ केएस राणा ने प्रदेश महिला कांग्रेस की महामंत्री वंदना गुप्ता को नोटिस जारी कर एक सप्ताह के भीतर जबाव मांगा है। इस नोटिस की प्रति भी कांग्रेसियों ने ही सोशल मीडिया पर वायरल की है। इससे साफ जाहिर होता है कि हरिद्वार कांग्रेस में गुटबाजी चरम पर है। कांग्रेस नेत्री वंदना गुप्ता से जब इस नोटिस के संबंध में पूछा गया तो उन्होंने बताया कि वह पार्टी हित में कार्य करती है। पूर्व में नोटिस का जबाव दे दिया गया था। अभी नोटिस नहीं मिला है। उसके बाद ही कुछ कहा जा सकता है। उन्होंने कहा कि पार्टी के ही कुछ कार्यकर्ता मामले को तूल देकर उनका मनोबल तोड़ने का प्रयास कर रहे है।



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