मंत्री बोले निर्माण कार्य खराब हो तो की जाये वसूली, जानिए पूरी खबर




अनुराग गिरि 

हल्द्वानी। जनपद प्रभारी एवं वन एव वन्यजीव, पर्यावरण, श्रम, सेवायोजन मंत्री डॉ हरक सिह रावत तथा जनपद के प्रभारी सचिव एवं आयुक्त कुमायू मण्डल चन्द्रशेखर भट्ट ने जनपद मे चलाये जा रहे विभिन्न विकास कार्यो की समीक्षा की। पूर्व कैबिनेट मंत्री एवं विधायक बंशीधर भगत, विधायक नवीन दुम्का, विधायक संजीव आर्य, विधायक रामसिह कैडा ने भी जनता की समस्याओं की ओर ध्यान आर्कषित कराया तथा सुझाव दिये।
शनिवार को वानिकी प्रशिक्षण संस्थान में डॉ हरक सिंह रावत ने समीक्षा बैठक को संबोधित करते हुये कहा कि विकास कार्यो के लिए धन की कोई कमी नही है। विकास कार्यों को पूरे मनोभाव से धरातल पर उतारा जाये। जन प्रतिनिधियों से संवाद बनाकर विकास कार्यों को अमलीजामा पहनाया जाये। उन्होंने विकास कार्यों में समयबद्धता व गुणवत्ता के मानकों का विशेष ध्यान रखने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि वर्तमान जिला योजना में प्रत्येक विधानसभा में विधायकों की सहमति से कम से कम दो निर्माण एवं विकास कार्यो को लिया जाए। उन्होने अधिकारियो को स्पष्ट किया कि जिला योजना मे जो धनराशि निर्गत की जा रही है उसका उपयोग पिछली देनदारियों मे ना करते हुये नये विकास कार्यो में भी किया जाए। इसके लिए सम्बन्धित क्षेत्र के विधायको को भी विश्वास मे लेकर कार्यवाही अमल में लाई जाए। जिन विभागो ने जिला योजना से कार्य पूर्ण कर लिये है उनका लोकापर्ण सम्बन्धित विधायको से इसी माह मे अवश्य करा लिया जाए।

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उन्होने कहा जिला योजना के अन्तर्गत जिन विभागों द्वारा निर्माण कार्य कराये जा रहे हैं उनकी कार्यदायी संस्थाओं का निर्धारण जिलाधिकारी से करायें। उन्होंने कहा कि जिन निर्माण कार्यो की गुणवत्ता खराब हो ऐसी एजेंसियों के खिलाफ दण्डात्मक कार्यवाही के साथ ही वसूली भी की जायेगी। उन्होंने जलसंस्थान अधिकारियों से कहा गर्मी का मौसम शुरू होने वाला है। पेयजल की किल्लत का समाधान पूर्व में ही किया जाये। उन्होंने कहा कि पेयजल व सिंचाई के लिए लगाये गये नलकूप तकनीकी कारणों से खराब रहते हैं जिनसे पेयजल आपूर्ति एवं सिंचाई का कार्य प्रभावित होता है जबकि पेयजल व सिंचाई दोनों महत्वपूर्ण हैं। लिहाजा खराब नलकूपों को तत्काल ठीक कर पानी की आपूर्ति बहाल रखी जाये। प्रभारी सचिव एवं आयुक्त चन्द्रशेखर भट्ट ने कहा कि निर्माणाधीन कार्यों में प्राथमिकता से धनराशि व्यय करें ताकि विकास कार्यो का शीघ्रता से जनता को लाभ मिल सके। उन्होंने कहा कि जो विभाग जिला योजना के अन्तर्गत प्राप्त धनराशि को व्यय नहीं कर पा रहे हैं उनकी धनराशि अन्य विभाग को स्थानान्तरित की जाये। उन्होंने गर्मी का सीजन प्रारम्भ होने वाला है इसलिये वन विभाग के अधिकारियों वनाग्नि को रोकने के लिए फायर लाईन निर्धारित करना सुनिश्चित करें। उन्होंने सर्वशिक्षा अभियान व मध्यांन भोजन की समीक्षा करते हुए भोजन की गुणवत्ता बनाये रखने के साथ ही स्कूलों में शौचालयों की साफ-सफाई एवं सुचारू पानी की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश मुख्य शिक्षा अधिकारी को दिये। बीससूत्रीय कार्यक्रम की समीक्षा की आयुक्त की सम्बन्धित अधिकारियों को ए श्रेणी में लाने के निर्देश दिये। जिलाधिकारी दीपेन्द्र कुमार चौधरी ने बताया कि जिला योजना के अन्तर्गत 4928.64 लाख अनुमोदित परिव्यय के सापेक्ष शासन से 3510.00 लाख धनराशि अवमुक्त हुई है। उक्त धनराशि विभागों को वितरित करते हुए विभागों द्वारा अबतक 2702.60 लाख व्यय किया गया। इसी तरह राज्य सेक्टर के अन्तर्गत जनपद को 19885.37 लाख अवमुक्त हुआ जिसके सापेक्ष विभागों द्वारा 16140.11 लाख व्यय किया गया। केन्द्र पोषित सेक्टर में 14564.93 लाख अवमुक्त हुआ जिसमें से विभागों द्वारा 11059.06 लाख व्यय किया गया। वाहृय सहायतित सैक्टर में 12028.10 लाख धनराशि प्राप्त हुई जिसके सापेक्ष 11996.54 लाख धनराशि व्यय की गई। जिलाधिकारी ने सभी विभागीय अधिकारियों को कार्यो मे गति लाकर शत प्रतिशत अवमुक्त धनराशि व्यय करने के निर्देश दिये।

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बैठक में जिलाध्यक्ष भाजपा प्रदीप विष्ट, मुख्य विकास अधिकारी प्रकाश चन्द्र, वनसंरक्षक डा0 पराग मधुकर धकाते, डीएफओ नितिश मणी त्रिपाठी, सुश्री कल्याणी, मुख्य चिकित्साधिकारी डा0एचसी जोशी, जिला विकास अधिकारी रमा गोस्वामी, जिला अर्थ एवं संख्याधिकारी ललित मोहन जोशी, अधिशासी अभियन्ता लोनिवि रणजीत सिह रावत, मीना भटट, सीएस नेगी, एबी काण्डपाल, विद्युत मो0 उस्मान, डीके जोशी, अमित आनन्द, जलसंस्थान संतोष कुमार उपाध्याय, जिला प्रोवेशन अधिकारी अंजना गुप्ता, मुख्य शिक्षा अधिकारी केके गुप्ता, अपर मुख्य अधिकारी जिला पंचायत हिमाली जोशी, जिला युवा कल्याण अधिकारी दीप्ति जोशी के अलावा विभागीय अधिकारी मौजूद थे।



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