परमार्थ निकेतन की मुहिम मेरा स्कूल मेरा पेड़ जितने बच्चे उतने पेड़, जानिए पूरी खबर।




नवीन चौहान

ऋषिकेश। ’सेव द चिल्ड्रन’ के सदस्यों का दल संजय शर्मा, जनरल मेंनेजर स्टेट प्रोग्राम, जयपुर के मार्गदर्शन में परमार्थ निकेतन पहुंचा। लगभग 50 सदस्यों के दल ने परमार्थ निकेतन के परमाध्यक्ष एवं जीवा के सह-संस्थापक पूज्य स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज से भेंट की। स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने सेव द चिल्ड्रन द्वारा किये जा रहे कार्यों को उत्कृष्ट बताते हुये कहा कि ’हमारे आस-पास जितनी भी समस्यायें विद्यमान है उन सब का ’हम है समाधान’। स्वामी जी ने चर्चा के दौरान कहा कि कुपोषण की समस्या को कम करने के लिये गंगा एक्शन परिवार, परमार्थ निकेतन द्वारा एक नवोदित पहल शुरू की है जिसमें ’मेरा स्कूल मेरा पेड़’ और ’जितने बच्चे उतने पेड़’ योजनाओं पर उत्तराखण्ड राज्य में कार्य किया जा रहा है हम सब के प्रयासों से इस योजना को पूरे देश में लागू किया जा सकता है। संजय शर्मा जी ने सेव द चिल्ड्रन के माध्यम से किये जा रहे सेवा कार्यो के विषय में जानकारी देते हुये कहा कि एन जी ओ और सरकारी प्रयासों के बावजुद भारत में आज भी नवजात शिशुओं की मृत्युदर दुनिया के देशों से ज्यादा है। कुपोषण, बालिका भ्रूण हत्या, बाल विवाह, टीकाकरण के प्रति जागरूकता, बालिका शिक्षा, नाबालिक बालिकाओं का विवाह ये सब समस्यायें आज भी विकराल रूप से भारत में विद्यमान है। उन्होने कहा कि स्वच्छ जल, स्वच्छता का अभाव एवं अन्य कारणों से देश में पांच वर्ष तक की उम्र के बच्चों की मृत्युदर में वृद्धि हो रही है अतः इसके लिये सरकारी और एनजीओ के प्रयासों के अलावा धर्मगुरूओं का आशीर्वाद एवं मार्गदर्शन आवश्यक है। उन्होने कहा कि जीवा एवं गंगा एक्शन परिवार द्वारा स्वच्छता, स्वच्छ जल, शिक्षा एवं स्वास्थ्य के क्षेत्र विश्व स्तर पर अनेक बेहतर कार्य किये जा रहे है और हमें विश्वास है कि पूज्य स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी के मार्गदर्शन में सेव द चिल्ड्रन द्वारा चलाये जा रहे अभियान को और सफलता मिल सकती है। स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने कहा कि ’बच्चों से बच्चों का बचपन छीनना उनके लिये सबसे बड़ी सजा है। बचपन जुल्मों के लिये नहीं भयमुक्त जीने के लिये है। उन्होने कहा कि बचपन शोषण और कुपोषण के लिये नहीं बल्कि शिक्षा और आनन्द के साथ व्यतित करने के लिये है। देश की इन भावी पीढियों़ को सुरक्षित, शिक्षित, स्वस्थ और संस्कार युक्त बनाने के लिये हम सब को मिलकर कार्य करना होगा; इसके लिये ’हम है समाधान’। स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने सभी को ’सेव द एनवायरमेंट’, ’सेव द चिल्ड्रन’ का संकल्प कराया। स्वामी जी ने कहा कि जल के स्रोत्र सीमित है और जल की खपत अधिक है जल के बिना जीवन संभव नहीं है अतः जल संरक्षण पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है इसी परिपेक्ष में सभी ने मिलकर विश्व स्तर पर स्वच्छ जल की आपूर्ति हेतु वाटर ब्लेसिंग सेरेमनी सम्पन्न की। सेव द चाइल्ड के अधिकारियों ने परमार्थ गंगा तट पर होने वाली माँ गंगा की दिव्य आरती में सहभाग किया। उन्होने कहा कि आरती के माध्यम से दिव्यता का अनुभव हो रहा है; यहां पर स्वर्ग सी अनुभूति हो रही है; आरती में सहभाग करने से हृदय में स्वतः ही आध्यात्मिकता का संचार हो जाता है। श्री संजय शर्मा जी ने स्वामी जी से निवेदन किया कि एक ही स्थान या घाट पर नही बल्कि माँँ गंगा की आरती सभी घाटों पर होनी चाहिये ताकि गंगा के तटों से दिव्यता, पवित्रता, पर्यावरण एवं परम्पराओं को बचाने के संदेश दिये जा सकें। इस अवसर पर जीवा की अन्तर्राष्ट्रीय महासचिव साध्वी भगवती सरस्वती जी, नन्दिनी त्रिपाठी, सेव द चिल्ड्रन के जयपुर सहित भारत के विभिन्न स्थानों से आये जसविन्दर कौर, संदीप सोनी, मनीषा प्रसाद, ओम आर्य, हिमांशु शुक्ला, रमाकान्त, संध्या, मयंक जैन, मीता शर्मा, हरिशचन्द्र, सुरभी यादव, राफिया अली, हेमन्त आचार्य, सतीश शर्मा, संजय, हेमन्त, नीरज एवं अन्य सदस्य उपस्थित थे।



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